Shirdi Sai Baba साईं बाबा को उनकी मस्जिद और दुसरे मन्दिरों में दिया जलाने का बहुत शौक था लेकिन तेल के लिए उनको वहा के बनियों पर आश्रित रहना पड़ता था | वो प्रत्येक शाम को दिया जलाते और बनियों से दान ले जाते | बनिये साईं बाबा को मुफ्त का तेल देकर थक गये थे और एक दिन उन्होंने साईं बाबा से माफी मांगते हुए तेल देने से मना कर दिया और कहा कि उनके पास तेल नही बचा | बिना किसी विरोध के साईं बाबा वापस अपने मस्जिद में लौट गये | अब उन मिटटी के दियो में उन्होंने पानी भरा और बाती जला दी | वो दिया मध्यरात्री तक जलता रहा |जब इसकी सुचना बनियों तक पहुची तो साईं बाबा के पास विपुल क्षमायाचना के लिए आये | साईं बाबा ने उन्हें क्षमा करदिया और कहा कि दुबारा झूठ मत बोलना | इस तरह साईं बाबा ने अपना चमत्कार दिखाते हुए पानी से दिया जला दिया |
पानी से दिया जलाना